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भारत के बारे में वो 7 झूठ जिन्हें हम सच मानते हैं

भारत के बारे में वो 7 झूठ जिन्हें हम सच मानते हैं

Whatsapp यूनिवर्सिटी के तेजी से फैलने की वजह से हम बहुत सी गलत जानकारियों को भी सही मान लेते हैं. आज हम आपको कुछ ऐसे फैक्ट्स बताएंगे जिनके बारे में ज्यादातर लोगों को गलत जानकारी है.


1. सोशल मीडिया पर एक मैसेज काफी वायरल हुआ, जिसमें लिखा था कि जन गण मन को UNESCO ने बेस्ट नेशनल एंथम घोषित किया है. जिसके बाद हम में से काफी लोगों ने इसे अपने दोस्तों और रिश्तेदारों को फॉर्वर्ड किया. लेकिन क्या आप जानते हैं कि ये मैसेज पूरी तरह से झूठ था. ये झूठ इतना फैला कि UNESCO को सफाई देना पड़ा कि उसने ऐसी कोई घोषणा नहीं की है.



2. हम में से ज्यादातर लोगों ने बचपन में पढ़ा या सुना होगा कि हॉकी भारत का राष्ट्रीय खेल है. जबकि ये झूठ है. एक RTI के जवाब में खेल मंत्रालय ने बताया कि कोई भी खेल भारत का राष्ट्रीय खेल नहीं है.



3. स्वतंत्रता सेनानी सुभाष चंद्र बोस के बारे में कुछ लोग कहते हैं कि उनकी मौत विमान हादसे में हुई थी. लेकिन उनके गायब होने के सालों बाद तक हुए रिसर्च में ये बात पता नहीं चल पाई कि उनकी मौत कैसे हुई.



4. लालू प्रसाद यादव हमेशा चर्चा में रहते हैं, साथ ही उनके बेटे और बेटियां भी ख़बरों में रहते हैं. लालू की बेटी मीसा भारती ने एक तस्वीर पोस्ट की थी जिसमें वो हॉर्वर्ड यूनिवर्सिटी के पोडियम के सामने खड़े होकर लेक्चर दे रही हैं, लेकिन हॉर्वर्ड ने सफाई दी कि ये तस्वीर फर्जी है.



5. काशी के बारे में कहा जाता है कि ये दुनिया का सबसे पुराना शहर है, लेकिन ये पूरी तरह से सही नहीं है. ये सच है कि काशी दुनिया के सबसे पुराने शहरों में से एक है लेकिन सबसे पुराना नहीं है. काशी यानी की बनारस के जन्म से पहले 1100 BC में दुनिया में करीब 30 शहर ऐसे थे जहां इंसान और जानवर रहते थे.



6. क्या आप जानते हैं कि हिंदी भारत की राष्ट्र भाषा नहीं है. दरअसल किसी भी भाषा को भारत में राष्ट्र भाषा का दर्जा नहीं दिया गया है. हिंदी को संविधान में राज भाषा कह कर संबोधित किया गया है.


7. जब भारत आजाद हुआ तब भारत एक सेकुलर देश नहीं था, क्योंकि ऐसा संविधान में नहीं लिखा था. साल 1976 में संविधान में संशोधन हुआ और सेकुलर यानी की धर्म निरपेक्ष शब्द को संविधान की प्रस्तावना में जोड़ा गया.

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